पुस्तक प्रदर्शनी में एक घंटा हिंदी निबंध: हाल ही में, मेरे विद्यालय के पास एक पुस्तक प्रदर्शनी का आयोजन किया गया। यह प्रदर्शनी एक सप्ताह तक चली। हम सब
पुस्तक प्रदर्शनी में एक घंटा हिंदी निबंध (An Hour in Book Exhibition Essay in Hindi)
"पुस्तके अनमोल होती हैं। वे हमारी सच्ची साथी होती हैं। उनसे हमारे ज्ञान का विस्तार होता है।" यह कथन सत्य ही है। पुस्तकें ज्ञान का भंडार हैं जो हमें जीवन के विभिन्न पहलुओं से परिचित कराती हैं। मेरे लिए, पुस्तकें पढ़ना न केवल एक शौक है, बल्कि यह आत्म-विकास का एक महत्वपूर्ण साधन भी है।
हाल ही में, मेरे विद्यालय के पास एक पुस्तक प्रदर्शनी का आयोजन किया गया। यह प्रदर्शनी एक सप्ताह तक चली। हम सब भी अपने कक्षा-अध्यापक के साथ इस पुस्तक प्रदर्शनी में गए। हमारे शिक्षक ने इस प्रदर्शनी में विद्यार्थियों को ले जाने की योजना बनाई और भोजन अवकाश के बाद हम सभी विद्यार्थी पुस्तक प्रदर्शनी की ओर रवाना हुए।
प्रदर्शनी में प्रवेश करते ही हम सब मंत्रमुग्ध हो गए। रंग-बिरंगे स्टॉलों पर सजी विभिन्न विषयों की पुस्तकों का अद्भुत संग्रह देखकर मन प्रसन्न हो गया। हर स्टॉल पर विभिन्न प्रकार की पुस्तकें व्यवस्थित ढंग से रखी थीं। स्टॉल पर बैठे कर्मचारी पुस्तकों के बारे में जानकारी दे रहे थे और लोगों को पुस्तकें दिखा रहे थे।
हमारे अध्यापक ने हमें विभिन्न स्टॉल्स घुमाया और पुस्तकों के बारे में जानकारी दी। विज्ञान, इतिहास, साहित्य, कला, मनोविज्ञान, और आत्म-विकास जैसे अनेक विषयों पर पुस्तकें उपलब्ध थीं। मैंने वैज्ञानिक खोजों पर आधारित कुछ पुस्तकें खरीदीं, और साथ ही प्रसिद्ध लेखकों के उपन्यासों का भी चयन किया।
मैंने सबसे पहले बच्चों के मनोरंजन के लिए समर्पित स्टॉल का दौरा किया। वहां, अकबर-बीरबल, तेनालीराम, कृष्ण-सुदामा, और परियों की कहानियों जैसी मनोरंजक पुस्तकों की भरमार थी। स्टॉल पर मौजूद कर्मचारियों ने बड़े रोचक ढंग से कहानियों की जानकारी दी। अपने छोटे भाई के लिए अकबर-बीरबल की कहानियों वाली पुस्तक खरीदी।
इसके बाद, मैं हिंदी साहित्य के क्षेत्र की ओर बढ़ा। वहां, प्रसिद्ध हिंदी लेखकों और कवियों की जीवनी, आत्मकथाएं और कविताएं उपलब्ध थीं। मैंने हिंदी कवियों और लेखकों की रचनाओं के बारे में जानकारी प्राप्त की और कुछ कहानियों और कविताओं की पुस्तकें खरीदीं।
पूरी पुस्तक प्रदर्शनी घूमने में लगभग एक घंटा लग गया। प्रदर्शनी से विद्यालय लौटने के बाद शिक्षक जी ने हमसे पुस्तक प्रदर्शनी के अनुभव के बारे में पूछा। हम सबने अपने-अपने अनुभव शिक्षक जी को बताए।
कुल मिलाकर यह पुस्तक प्रदर्शनी बहुत ही शानदार थी। इसमें बिताया एक घंटा मुझे हमेशा याद रहेगा। विभिन्न विषयों पर आधारित पुस्तकों की विस्तृत श्रृंखला देखकर मैं अत्यंत प्रभावित हुआ। इस प्रदर्शनी ने मेरे ज्ञानवर्धन में महत्वपूर्ण योगदान दिया और मुझे विभिन्न विषयों के प्रति और अधिक उत्सुक बना दिया।
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