यदि मैं प्रधानमन्त्री होता निबंध : भारत में लोकतंत्र है इसलिए भी प्रधानमंत्री बनने का सपना भी ऐसा नहीं है, जिसे संभव नहीं कहा जा सकता है। और फिर यहाँ तो सवाल है कि अगर मैं प्रधान मंत्री हूं तो क्या होगा? तो सबसे पहले तो परमपिता परमात्मा से प्रार्थना करता है कि वह ईश्वर आपका बहुत-बहुत धन्यवाद आप इस तरह कृपा करें कि प्रधान मंत्री बनें।
यदि मै प्रधानमंत्री होता पर निबंध। If i were Prime Minister Hindi Essay
भारत में लोकतंत्र है इसलिए भी प्रधानमंत्री बनने का सपना भी ऐसा नहीं है, जिसे संभव नहीं कहा जा सकता है। और फिर यहाँ तो सवाल है कि अगर मैं प्रधान मंत्री हूं तो क्या होगा? तो सबसे पहले तो परमपिता परमात्मा से प्रार्थना करता है कि वह ईश्वर आपका बहुत-बहुत धन्यवाद आप इस तरह कृपा करें कि प्रधान मंत्री बनें।
लेकिन मैंने सुना है कि ईश्वर भी उसी की मदद करता है जो आपकी सहायता करता है इसलिए मैं अपनी और अपनी सरकार की स्थिरता के लिए बहुत अधिक प्रयास करता हूं पूरे कार्यकाल तक बहुमत बना रहा है इसलिए सबका ध्यान रखना मान रखता है और किसी को असंतुष्ट नहीं रहना चाहिए
यह सब इंतज़ाम दुरूस्त कर चुकाने के बाद मुझे काम पर ध्यान देना चाहिए क्योंकि अगले चुनाव में जनता हमें ही तब चुनेगी जब हम कुछ ठोस काम करते दिखाएंगे।
सबसे पहले तो मैं शिक्षा पर ध्यान दिलाता हूं। बच्चों पर बस्तों का बोझ बहुत कम हो या फिर बिलकुल ही न हो यह मेरी पहली कोशिश होगी मेधावी छात्रों को उच्च शिक्षा प्राप्त करने के लिए और प्रतिभा का पलायन न हो इसके लिए मैं उचित कदम उठाता हूं। शिक्षा को रोजगार मुहैया करवाता और बेरोजगार गरीबी भुखमरी को दूर करने के लिए एक संपूर्ण योजना विशेषज्ञ समिति द्वारा बनवाता और देश: विशेषज्ञों से उस योजना की समीक्षा करके उसे लागू करना
बढ़ते जनसंख्या को रोकना प्रभावी उपाय और नियोजित परिवारों को सरकारी प्रोत्साहन प्रदान करता है संचार माध्यमों का उपयोग करने के लिए जनता को जनपद के प्रति सचेत और जागरूक करता है सबके जेहन में यह प्रयास करना है कि जनसंख्या-वृद्धि अन्य कई गंभीर समस्याओं का जड़ है। आवास रोजगार और साक्षरता अभियान के लिए चलाए गए अभियानों की सफलता जनसंख्या पर नियंत्रण प्राप्त करने के बाद किया जा सकता है।
देश में बाढ़ और सूखे की समस्या बिजली की अपर्याप्त उत्पादन सिंचाई के लिए जल और परिवहन में सुगमता सुनिश्चित करने के लिए मैं सभी देश के नदी-नलों को योजनाबद्ध रूप से एक-दूसरे से जुड़वा और जल मार्ग से परिवहन की व्यवस्था करना की कार्रवाई की युद्ध स्तर पर कर देता है
जल-थलःनभ में आवागमन आधुनिक सुगम सुनिश्चित और सस्ता रखने की नीति पर लागू होता है
कुटीर उद्योग और कृषि और पशुपालन (डेयरी) पर विशेष ध्यान दें क्योंकि भारत के गांवों का देश है और इसने भारत की वास्तविक खुशहाली तब कह सकती है जब ग्रामीण खुशहाल हो चाहे वह खेतक हो चाहे दस्तकार या फिर मजदूर ही क्यों न हो। और इसके लिए जरूरी है एक और हरित क्रांति और एक और श्वेत क्रांति की इसके लिए स्वर्गीय लाल बहादुर शास्त्री का 'जय जवान जय किसान' नारे की तरह मैं 'जागो कम हो जाओ धनवान' का नारा दिया और गांव के युवाओं को नगरों का मुंह छोड़कर जाने के लिए गांव के विकास के लिए कार्य करने की प्रेरणा। मैं कृषि और कुटीय उद्योगों को सहायता सब्सीडी ऋण तकनीकी जानकारी आदि कुछ प्राथमिकता से उपलब्ध कराते हैं।
महंगाई और भ्रष्टाचार पर अंकुश लगाना बुशशाही की नकल करता है और पुलिस और प्रशासक को चुस्त-सुस्त करने के लिए मैं प्राथमिकता देता हूं भ्रष्टाचार मादक द्रव्यों के घोटालों के दंगों आदि के हर मामले पर मैं जांच आयोग बैठाकर दूध का दूध और पानी का पानी करवाता।
कोई भी ऐसा कदम नहीं उठाता है जिससे न्यायपालिका और कार्यपालिका में विर-विरोध या टकराव जैसी स्थिति उत्पन्न हो। आतंकवादियों को पता चला कि भाई ये खून-खराबा उचित नहीं हैं तुम क्यों अपने और अपने देशवासियों के जीना दूभर्ते हो अरे आपस में लड़ने ताकत जाया मत करो अपनी ताकत के साथ हमारे साथ मिलते-जुलते विकास और खुशहाल भारत बनाने में और फिर जमकर जश्न मनाओ
इस तरह देश और देशवासियों के सुख-शांति की व्यवस्था और कश्मीरी पंडितों को ससम्मान कश्मीर में फिर से बसाने और नक्सलवाद आतंकवाद माओवाद उत्पीड़न आदि। विध्वंसक वादों की विधियों को व्यस्त करने के बाद देशमुख बनने के बाद मैं समान नगरिक संहिता तैयार करने के लिए विशेषज्ञ समिति का निर्माण
विश्व-भर के देशों से मैं द्वैत संबंध संबंध स्थापित करता है और विदेश नीति का आधार पंचशील बनाता है व्यापार और खासकर विदेश व्यापार में वृद्धि के लिए मैं अर्थ-व्यवस्था में उदारीकरण के लिए कदम उठाता है। रोगी उद्यमों का निर्वाह और सभी क्षेत्रों में निजीकरण को बढ़ावा देना। सूचना संचार और अंतरिक्ष विज्ञान और परमाणु ऊर्जा और गैर पारंपरिक ऊर्जा के क्षेत्रों में विकास के लिए पूंजी और ढांचा उपलब्ध करावानों में कोई कसर नहीं रखता है। खेलों के विकास के लिए विशेषताओं की समिति गठुत करवाकर क्रांतिकारी योजनाएं तैयार और लागू करने में मुझे कोई चूक नहीं है
पड़ोसी देशो की उछलने के लिए उन्हें नजरअंदाज करते हुए उनसे सी 0 बी 0 एम 0 की रेखाएं पर बातचीत और संवाद जारी रखें। आखिर कल तक वे भी भारतवासी थे आज जुडा हैं तो क्या हुआ? भाई-भाई हिसमिल कर रहैं। एक-दूसरे का काम आएँ सम्बन्ध जारी रहे- इस दुआ के साथ कि- बिछड़े हुए मिलगे फिर किस्मत ने गर मिला।
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